आज इस लेख में मैं बच्चों के लिए 10+ श्रेष्ठ छोटे बच्चों की कहानी लिख रहा हूं| ये सभी कहानियां हिंदी भाषा में लिखी गई हैं और स्कूल और सीखने के उद्देश्य के लिए बहुत उपयोगी हैं सभी कहानियों में कुछ नैतिक मूल्य होते हैं जो बच्चे को बड़े होने और कहानियों के साथ कुछ नैतिक सीखने में मदद करते हैं ये छोटे बच्चों की कहानी शिक्षक के लिए अपने छात्रों को पढ़ाने के लिए भी सहायक होती हैं घरों में स्कूली अंतर्ज्ञान भी बच्चों को कुछ नैतिक देने के लिए इन कहानियों का उपयोग करते हैं |
10+ श्रेष्ठ छोटे बच्चों की कहानियाँ बच्चों के मनोरंजन और सीखने के लिए बहुत मददगार हैं और बच्चों को कुछ नैतिक मूल्य देने में भी बहुत मददगार हैं |
वर्तमान में आपने शायद ही कभी बच्चों को गाँव जाते देखा होगा और वे अपने पोर्टेबल पीसी में अधिक ऊर्जा लगाते हैं। ऐसे में उन्हें उस कहानी पर ध्यान देने का मजा नहीं आता, जिसका अनुभव शायद अतीत के लोगों ने किया हो।
हमारा कहने का मतलब था कि आप अपने बच्चों के साथ बैठे और थोड़ा वक्त स्पेंड करे और उनको हिंदी छोटे बच्चों की कहानी सुनाइए जिस कारण बच्चे को थोड़ा सा इंटरेस्ट आये और वह कुछ अच्छा सीख पाए और आप उसमें थोड़ा सा डरामा तड़का लगाकर और सुना सकते हैं जिस कारण उनको बहुत ज्यादा छोटे बच्चों की कहानी में इंटरेस्ट आये और वह थोड़ी देर मोबाइल से दूर हो जाए|
श्रेष्ठ छोटे बच्चों की कहानी मोरल के साथ
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छोटे बच्चों की कहानी |
लक्ष्य या मोबाइल
(छोटे बच्चों की कहानी मोरल के साथ)
यह कहानी एक लड़के के बारे में है जो छठी कक्षा में पढ़ता था, वह बच्चा पढ़ाई में बहुत अच्छा था, हमेशा कक्षा में प्रथम स्थान पर आता था और उसे अपने स्कूल की परीक्षा में कभी कम अंक नहीं मिले,
कोरोना के कारण उसकी कक्षाएं ऑनलाइन हो गईं और उनके घर मेरे पास कोई मोबाइल फोन नहीं था, फिर उनके पिता उनके लिए एक मोबाइल फोन लेकर आए, ऑनलाइन कक्षाओं में शामिल होने
के लिए और बच्चा उस मोबाइल फोन से ऑनलाइन कक्षाएं लेने लगा, जिससे उसके अंक धीरे-धीरे कम हो रहे थे। उसे कभी परीक्षा में कम अंक नहीं मिले तो एक दिन उसके पिता उसके पास गए और पूछा कि तुम्हें कम अंक क्यों मिल रहे हैं, क्या आपको उसकी पढ़ाई में कोई समस्या आ रही है, उसने कहा नहीं पापा, मैं हूं तो मैं अच्छी तरह से पढ़ रहा हूं।
अगले दिन जब उसकी क्लास चल रही थी तो उसके पिता ने देखा कि उसने क्लास नहीं ली और वह फोन पर गेम खेलता था तो उसके पिता उसके पास गए और उसे समझाया कि बेटा, तुम हमेशा अपने लक्ष्य से भटकना बहुत आसान हो लेकिन अगर आप जीवन में सफल होना चाहते हैं तो आपको अपने
लक्ष्यों पर पूरा ध्यान देना होगा। खेलों के लिए आपके पास बाद में बहुत समय होगा जब आप बड़े हो जाएंगे और आपका करियर अच्छा होगा, अगर आप कुछ पढ़ते और लिखते हैं, तो आप पैसे कमा पाएंगे, अगर आप अच्छा पैसा कमा पाएंगे, तो आपको कभी कोई समस्या नहीं होगी।
मोरल - अगर सिर्फ कामना करोगे तो कभी काम ना करोगे, और अगर कर्म करोगे तो करामात करोगे ।
एकता में बहुत बल होता हैं
(छोटे बच्चों की कहानी)
एक बूढ़ा पिता अपने पांच बेटों के साथ रहता था। पांचो बेटे बहुत मेहनती थे लेकिन आपस में झगड़ते रहते थे। एक दिन पिता ने सभी बच्चों को बुलाया।
पिता ने अपने बड़े बेटे से गट्ठर तोड़ने को कहा। पुत्र बहुत शक्तिशाली था। अपनी पूरी ताकत के बावजूद, वह इसे तोड़ने में असफल रहा।
अन्य बेटों ने भी बारी-बारी से अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास किया लेकिन सभी असफल रहे। अब पिता ने गठरी खोली और उन्हें एक-एक करके लकड़ी उठाने को कहा।
सभी पुत्रों ने गट्ठर में से एक-एक लकड़ी उठाई। पिता ने पुत्रों से कहा, "उन्हें तोड़ दो।" सभी ने आसानी से अपनी-अपनी लाठी तोड़ दी और आश्चर्य से पिता की ओर देखा।
एक मुस्कान के साथ पिता ने कहा, "मेरी मृत्यु के बाद, आप सभी इस बंडल की तरह एक साथ रहें। कभी आपस में लड़ाई न करें। एकता बनाए रखें।
कोई ताकत आपको तोड़ नहीं सकती। अगर तुम टूट जाओगे, तो तुम उस लकड़ी की तरह फौरन टूट जाओगे। बेटों ने बात समझी और प्यार से साथ रहने का वादा किया।
मोरल - एकता में बहुत बल होता हैं
समय का मूल्य
(छोटे बच्चों की कहानी मोरल के साथ)
घड़ी में 8:00 ही बजे थे और मनु अपने स्कूल जाने के लिए तैयार था स्कूल के रास्ते में एक ग्राउंड आता था जिसमें मनु के सभी दोस्त क्रिकेट खेल रहे थे उन सभी दोस्तों ने मनु को क्रिकेट खेलने के लिए बुलाया और मनु क्रिकेट
खेलने लग गया थोड़ी देर बाद 8:20 हो गए और मनु के एक दोस्त ने मनु को बोला कि मनु अब तुम्हारे स्कूल का बक्त होने वाला है तो तुम अब स्कूल चले जाओ मनु ने उसकी बात नहीं सुनी और वह क्रिकेट खेलता रहा थोड़ी देर
बाद मनु के सभी दोस्त अपने घर चले गए और मनु अपने स्कूल स्कूल चला गया स्कूल के दरवाजा बंद हो चुका था क्योंकि उस टाइम 9:00 बज चुके थे और मनु को स्कूल के बाहर गार्ड ने पनिशमेंट दी और समझाया कि बेटा ऐसे
आप को समय का दुरुपयोग नहीं करना चाहिए आपको हमेशा समय पर स्कूल आना चाहिए और फिर मनु ने उसकी बात समझी और वह समय का सदुपयोग करने लगा
मोरल - हमें समय का सदुपयोग करना चाहिए
रुकूंगा नहीं
(छोटे बच्चों की कहानी)
एक सड़क पर 100 लोग चल रहे थे चलते चलते थोड़ी देर बाद मौसम खराब हो गया मौसम खराब होने की वजह से कुछ लोग 20 लोग पेड़ के नीचे गिर गए और बाकी सब चलते रहे फिर थोड़ी देर बाद बहुत तेज आंधी आ गई
और 50 लोग जंगलों में जाकर छुप गए पेड़ों के नीचे और 30 लोग तब भी चलते हैं थोड़ी देर बाद एक नदी आई जिस नदी को देखकर 19 लोग वहीं रुक गए और एक लड़का चलता रहा नदी तैरकर भी आगे चला गया और वह अपने लक्ष्य तक पहुंच गया
मोरल - आत्मविश्वास और कड़ी मेहनत आपको हमेशा सफलता दिलाएगी
kids story उत्सुक बच्चा
एक बार, एक बच्चा जंगल में घूम रहा था। उसने एक बड़ा और भारी बक्सा देखा। उसने उसे खोलने की बहुत कोशिश की परंतु नहीं खोल पाया।
वह सोचने लगा कि उसमें क्या होगा। पहले उसने सोचा उसे बहुत धन होगा। फिर उसने सोचा कि उसमें खज़ाने का नक्शा होगा। तभी उसने वहाँ पर भविष्य बताने वाले की झोंपड़ी देखी। लड़का उसके पास गया।
भविष्य बताने वाले ने बक्सा सूंघा और कहा-“इसके अंदर कोई अच्छी चीज है।” लड़के ने पूछा- वह क्या है?” भविष्य बताने वाले ने कहा- “मैं तुम्हें इतना ही बता सकता हूँ।
लड़का उदास हो अपने घर की ओर मुड़ गया। लेकिन वह इतना उत्सुक था कि उससे रहा न गया और उसने उस बक्से पर पत्थर दे मारा। बक्सा टूट गया और उसमें से मीठा पेय बह निकला। बच्चा बहुत पछताया क्योंकि वह इस पेय को नहीं पी पाया था।
छोटे बच्चों की कहानी - सोने का अंडा
बहुत पहले की बात है एक गांव में अली नाम का एक व्यक्ति रहता था। उसके माँ बाप बचपन में ही गुजर चुके थे। वह खेतों में काम करके अपना गुजारा बड़ी मुश्किल से करता था। उसके पास एक मुर्गी थी। जो उसको रोज़ एक अंडा देती थी।
जब उसके पास कभी खाने के लिए कुछ नहीं होता तो वह रात को अपनी मुर्गी का अंडा खा कर ही सो जाता था। उसके पड़ोस में एक बासा नाम का एक व्यक्ति रहता था। जो की सही व्यक्ति नहीं था।
जब उसने देखा की अली अपना गुजारा सही से कर रहा है तो उसने एक दिन अली की मुर्गी चुरा ली। जब अली घर पर नहीं था। इसके बाद बासा मुर्गी को मार कर पका कर खा गया। जब अली घर आया और उसने घर पर मुर्गी को नहीं देखा तो इधर उधर अपनी मुर्गी को ढूंढने लगा।
उसने मुर्गी के कुछ पंख बासा के घर के बाहर देखे। उसने बासा से बात की तो बासा ने कहा की उसकी बिल्ली एक मुर्गी को पकड़ कर लायी थी। मैंने उसको पका कर खा लिया। मुझे क्या पता था वह तुम्हारी मुर्गी है।
अली ने बासा से कहा की वह इसकी शिकायत न्यायाधिकारी से करेगा। यह बात सुनकर बासा ने मुर्गी की जगह अली को एक छोटा बत्तख दिया। अली ने उस बत्तख को पाला जिससे कुछ दिनों बाद वह बत्तख बड़ा हो गया और अंडा देने लगा।
श्रेष्ठ छोटे बच्चों की कहानी मोरल के साथ– डरपोक पत्थर
बहुत पहले की बात है एक शिल्पकार मूर्ति बनाने के लिए जंगल में पत्थर ढूंढने गया। वहाँ उसको एक बहुत ही अच्छा पत्थर मिल गया। जिसको देखकर वह बहुत खुश हुआ और कहा यह मूर्ति बनाने के लिए बहुत ही सही है।
जब वह आ रहा था तो उसको एक और पत्थर मिला उसने उस पत्थर को भी अपने साथ ले लिया। घर जाकर उसने पत्थर को उठा कर अपने औजारों से उस पर कारीगरी करनी शुरू कर दिया।
औजारों की चोट जब पत्थर पर हुई तो वह पत्थर बोलने लगा की मुझको छोड़ दो इससे मुझे बहुत दर्द हो रहा है। अगर तुम मुझ पर चोट करोगे तो मै बिखर कर अलग हो जाऊंगा। तुम किसी और पत्थर पर मूर्ति बना लो।
पत्थर की बात सुनकर शिल्पकार को दया आ गयी। उसने पत्थर को छोड़ दिया और दूसरे पत्थर को लेकर मूर्ति बनाने लगा। वह पत्थर कुछ नहीं बोला। कुछ समय में शिल्पकार ने उस पत्थर से बहुत अच्छी भगवान की मूर्ति बना दी।
गांव के लोग मूर्ति बनने के बाद उसको लेने आये। उनने सोचा की हमें नारियल फोड़ने के लिए एक और पत्थर की जरुरत होगी। उन्होंने वहाँ रखे पहले पत्थर को भी अपने साथ ले लिया। मूर्ति को ले जाकर उन्होंने मंदिर में सजा दिया और उसके सामने उसी पत्थर को रख दिया।
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